रायसेन। वेतन वद्धि की मांग को लेकर समय-समय पर आंदोलन करने वाली आशा, ऊषा एवं आशा सहयोगिनी कार्यकर्ताओं ने एक बार फिर आंदोलन की राह पकड़ ली है। शुक्रवार को आशा, ऊषा, आशा सहयोगी संयुक्त मोर्चा, मध्य प्रदेश के तत्वावधान में कार्यकर्ताओं ने कलेक्ट्रेट परसर के समीप धरना दिया, रैली निकाली और नारेबाजी करते हुए कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा। कार्यकर्ताओं का कहना है कि विगत 16 वर्षों से न्यायपूर्ण वेतन से वंचित आशा को 10 हजार रुपए एवं पर्यवेक्षकों को 15 हजार रुपए वेतन लागू किया जाए, लेकिन शासन ने इनकी मांगों पर अब तक ध्यान नहीं दिया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार एवं राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन का रवैया बेहद अन्यायूर्ण रहा है। आशा कार्यकर्ता केवल 2 हजार रुपए मासिक बेहद अल्प में काम करने को मजबूर हैं। उक्त वेतन भी केन्द्र सरकार द्वारा प्रदाय किया जाता है, प्रदेश सरकार पिछले 16 वर्षों से अपनी ओर से कुछ नहीं दे रही है। जिससे आशा, ऊषा कार्यकर्ता, पर्यवेक्षक बेहद आहत एवं आक्रोषित हैं। संयुक्त मोर्चा के आह्वान पर आशा, ऊषा कार्यकर्ताओं के हड़ताल का आज 17 वां दिन था, उन्होंने आज पुन: प्रदर्शन कर मांगों का निराकरण करते हुए स्वास्थ्य संबंधी अभियानों को सामान्य बनाने में पहल करने का अनुरोध किया है।