रविवार शाम 30 किमी की रफ्तार से चली तेज हवा ने महाकाल लोक को बड़ा नुकसान पहुंचाया। यहां कमल पर विराजी सप्तऋषियों की 7 मूर्तियों में से 6 गिरकर खंडित हो गई। किसी का हाथ टूटा तो किसी का सिर धड़ से अलग हो गया। घटना शाम करीब 4 बजे हुई। हादसे के वक्त यहां श्रद्धालु भी मौजूद थे, जो बाल-बाल बचे। जानकारी मिलते ही अफसर पहुंचे
और श्रद्धालुओं को निकालकर महाकाल लोक बंद कर दिया। 7 माह पहले 11 अक्टूबर 2022 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महाकाल लोक का उद्घाटन किया था। यहां जो 6 मूर्तियां गिरीं, उनकी ऊंचाई 10 से 25 फीट तक थी। ये फाइबर रेनफोर्स प्लास्टिक (एफआरपी) से बनी हैं। इन पर गुजरात की एमपी बावरिया फर्म से जुड़े गुजरात, ओडिशा और राजस्थान के कलाकारों ने कारीगरी की थी। शेष
महाकाल लोक में आंधी से गिरी सप्तऋषियों की सात में से छह मूर्तियों के बाद कांग्रेस एक बार फिर फ्रुटफुट पर आ गई है। घटना के तत्काल बाद शहर कवीस अध्यक्ष रवि भदौरिया, नेता प्रतिपक्ष रवि राय कांग्रेसियों के साथ महाकाल लोक पहुंचे और स्मार्ट सिटी के कामों में भ्रष्टाचार के आरोप लगाए।
कांग्रेस नेताओं ने नारेबाजी की और आरोप लगाए लोकायुक्त में तत्कालीन कलेक्टर आशीष सिंह, तत्कालीन निगमायुक्त अंशुल गुप्ता सहित स्मार्ट सिटी के अफसरों की शिकायत की थी। इसमें प्राथमिकी भी दर्ज की गई थी। लोकायुक्त महाकाल लोक के निर्माण से जुड़े दस्तावेज मांग रही है लेकिन अफसर उपलब्ध नहीं करवा रहे हैं। कांग्रेस ने दोषी अफसरों पर कार्रवाई की मांग की है।