उज्जैन। शहर या जिले भर में भले ही लाड़ली बहन योजना का लाभ महिलाओं को मिल रहा हो लेकिन बताया यह भी गया है कि कई ऐसी महिलाएं भी है जो योजना के लिए पात्र नहीं है बावजूद इसके ऐसी महिलाओं ने अपने नाम योजना में जुड़वा कर योजना का लाभ लेना शुरू कर दिया है परंतु अब ऐसी महिलाएं अपना नाम कटवाने के लिए भी आगे आ रही है। इसके पीछे कारण यह बताया जा रहा है कि अपात्र महिलाओं की शिकायत उनकी ही पड़ोसियों द्वारा की जा रही है। ये ऐसे पड़ोसी भी है जो योजना के लिए पात्र है परंतु धोखाधड़ी का मामला दर्ज होने का खतरा होने के कारण अपात्र महिलाएं अपना नाम हितग्राही सूची से कटवाने लगी है।
लाडली बहना योजना के तहत लाभ प्राप्त करने वाली अपात्र महिलाओं पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज होने का खतरा मंडराने लगा है। इसके चलते उज्जैन की कई महिलाओं ने योजना की हितग्राही सूची से अपना नाम कटवा लिया है,यह संख्या हर रोज बढ़ रही है। उल्लेखनीय है कि मध्य प्रदेश में मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना के तहत आर्थिक सहायता प्राप्त करने के लिए महिलाओं द्वारा एक शपथ पत्र भरा गया है। यह योजना का महत्वपूर्ण दस्तावेज है। इसमें महिलाओं द्वारा घोषणा की गई है कि उन्होंने योजना से संबंधित सभी जानकारी और शर्तों को ध्यान पूर्वक पढ़ एवं समझ लिया है, और वह स्वयं सभी शर्तों को पूरा करती है एवं उपलब्ध कराए गए दस्तावेज और जानकारी पूरी तरह से सही है। यदि कोई जानकारी अथवा कोई दस्तावेज गलत पाया जाता है तो इसके लिए मैं स्वयं जिम्मेदार हूं। योजना का लाभ मिलना शुरू हो गया है और 1000 की राशि पर 250 के इंक्रीमेंट के बाद सीएम शिवराज सिंह चौहान ने सहायता की राशि 3000 और लाडली बहना योजना की की पात्र महिलाओं को अन्य कई प्रकार के लाभ देने की प्रक्रिया शुरू की तो, पड़ोसियों ने शिकवे शिकायत शुरू कर दिए हैं। इसके चलते कई मामले जांच की प्रक्रिया में आ सकते हैं। नियमानुसार यदि कोई शपथ पत्र में गलत जानकारी देता है तो उसके खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया जा सकता है जिसमें 10 साल तक की सजा का प्रावधान है। इसके चलते कई महिलाओं ने अपना नाम वापस लेना शुरू कर दिया है।
योजना के लिए अपात्र
जिनके परिवार की वार्षिक आय 250000 से ज्यादा है।
जिनके परिवार में कोई भी एक व्यक्ति सरकारी कर्मचारी है।
जिनके परिवार में किसी भी एक व्यक्ति को पेंशन प्राप्त होती है।
संयुक्त परिवार में यदि 5 एकड़ से ज्यादा जमीन है।
केंद्र या राज्य सरकार की किसी अन्य योजना का लाभ मिल रहा हो।